मकर संक्रांति पर वृद्धाश्रम को टीवी भेंट
अजमेर। मकर संक्रांति के पावन पर्व के अवसर पर पुष्कर स्थित वृद्धाश्रम पहुंचकर कलसी परिवार और यूनाइटेड अजमेर ने वृद्धाश्रम में मौजूद वृद्धजनों के साथ समय व्यतीत किया और त्योहार की शुभकामनाएं दी। साथ ही वृद्धजनों को उपलब्ध सुविधाओं और स्वास्थ्य के संबंध में जानकारी ली।
कलसी ने जानकारी देते हुए बताया की मकर संक्राति के अवसर पर यूनाइटेड अजमेर के साथ मिल कर मकर संक्रांति को अलग अंदाज में मनाने की ठानी और साथ ही घर से भोजन बना कर वृद्धजनों के साथ समय व्यतीत करने का कर्यक्रम तय किया।
पत्रकार सुमित कलसी ने बताया की उन्होंने उनकी माता जी के देहांत से पहले जो टीवी उनके लिए लिया था, उसे वृद्धाश्रम में भेट करने का निर्णय लिया। कलसी ने कहा की मेरी माता जी के लिए इस टीवी का उपयोग इससे अच्छा नहीं हो सकता था वो वृद्धजन भी मेरे माता पिता के सामान ही है। जीवन के अंतिम पड़ाव में अगर एक छोटी से भेंट से उन्हें ख़ुशी मिलती है तो मुझे लगेगा टीवी लेना सार्थक ही था।
जयपुर से आई कलसी की बहन तृप्ति बट्टा ने बतया की उक्त कमरे के वृद्धजनों को जितनी ख़ुशी टीवी मिलने की थी उससे ज्यादा उन्हें ख़ुशी इस बात की थी कोई उनके साथ आज समय व्यतीत करने आया। जाते जाते आंखे उस वक्त नम हो गयी जब एक वृद्धजन ने हाथ पकड़ कर ये कह दिया कि बेटी हमे कुछ नहीं चाहिए बस मिलने आते रहना शायद ये मेरा अबतक का सबसे अच्छा मकर संक्रांति का पर्व रहा जिसके लिए में यूनाइटेड अजमेर और भाई को धन्यवाद देती हूं।
इस मौके पर यूनाइटेड अजमेर से कीर्ति पाठक, पुष्पा क्षेत्रपाल, दीप शिखा, आनंद, कलसी परिवार से पत्रकार सुमित कलसी, भावना कलसी, उनके साथ दीपिका, नीरू,समेत लोग मौजूद रहे।
कलसी ने जानकारी देते हुए बताया की मकर संक्राति के अवसर पर यूनाइटेड अजमेर के साथ मिल कर मकर संक्रांति को अलग अंदाज में मनाने की ठानी और साथ ही घर से भोजन बना कर वृद्धजनों के साथ समय व्यतीत करने का कर्यक्रम तय किया।
पत्रकार सुमित कलसी ने बताया की उन्होंने उनकी माता जी के देहांत से पहले जो टीवी उनके लिए लिया था, उसे वृद्धाश्रम में भेट करने का निर्णय लिया। कलसी ने कहा की मेरी माता जी के लिए इस टीवी का उपयोग इससे अच्छा नहीं हो सकता था वो वृद्धजन भी मेरे माता पिता के सामान ही है। जीवन के अंतिम पड़ाव में अगर एक छोटी से भेंट से उन्हें ख़ुशी मिलती है तो मुझे लगेगा टीवी लेना सार्थक ही था।
जयपुर से आई कलसी की बहन तृप्ति बट्टा ने बतया की उक्त कमरे के वृद्धजनों को जितनी ख़ुशी टीवी मिलने की थी उससे ज्यादा उन्हें ख़ुशी इस बात की थी कोई उनके साथ आज समय व्यतीत करने आया। जाते जाते आंखे उस वक्त नम हो गयी जब एक वृद्धजन ने हाथ पकड़ कर ये कह दिया कि बेटी हमे कुछ नहीं चाहिए बस मिलने आते रहना शायद ये मेरा अबतक का सबसे अच्छा मकर संक्रांति का पर्व रहा जिसके लिए में यूनाइटेड अजमेर और भाई को धन्यवाद देती हूं।
इस मौके पर यूनाइटेड अजमेर से कीर्ति पाठक, पुष्पा क्षेत्रपाल, दीप शिखा, आनंद, कलसी परिवार से पत्रकार सुमित कलसी, भावना कलसी, उनके साथ दीपिका, नीरू,समेत लोग मौजूद रहे।
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